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Sadak par gire paise milna

अक्सर कहीं जाते समय हमें सड़क पर सिक्के या नोट पड़े हुए मिल जाते हैं। बहुत सारे लोग इसे शगुन तो कुछ लोग इसे अपशगुन मानते हैं सड़क पर गिरे हुए नोट यह सिक्के उठाने चाहिए या नहीं आज हम यही बताने जा रहे हैं।

जब हम सड़क से जा रहे होते हैं तो चाहे कितने बड़े धनवान या धन दौलत के मालिक क्यों ना हो लेकिन जब हमें सड़क पर पैसे मिलते हैं तो बड़ी खुशी मिलती है।

वह पैसे उठाने के बाद लोगों को लगता है कि किसी और की कमाई के पैसे हैं। हम क्यों लें।
पता नहीं किस मनसा से यह यहां डाले गए। जैसे कुछ लोग जब नदी पार करते हैं तो पैसे नदी के अंदर डाल देते हैं। ऐसे ही कुछ लोग अपने ऊपर से पैसे सात बार उतार कर कुछ सामग्री के साथ सड़क पर डाल देते हैं। आपने सुना होगा टोटका अक्सर चौराहे पर किया जाता है। इस तरह से यह विचार लोगों के मन में अक्सर आता है। इसलिए लोग यह जानना चाहते हैं कि उन्हें सड़क पर मिले हुए पैसों का क्या करना चाहिए?
कुछ लोगों का मानना यह है कि सड़क पर गिरे हुए पैसे पूर्वजों का आशीर्वाद होते हैं। परंतु यह दो चीजें हैं ध्यान देने वाली एक होते हैं सिक्के यानी धातु और दूसरा होता है नोट यानी कागज। यदि आपको इस बात का शक होता है कि यह सिक्का किसी के ऊपर से उतरा गया है तो यह खास तौर पर ₹1 या ₹2 का सिक्का होगा।
यदि सिक्के गिरे हुए मिलते हैं तो बेनिफिट ऑफ डाउट देते हुए उनको किसी भिखारी को दान कर देना चाहिए। इस संदर्भ में मैं आपको एक अनुभव बताना चाहूंगा। हमारे मित्र हैं एक बार उन्हें ₹1 का सिक्का मिला उस सिक्के को उन्होंने पितरों का आशीर्वाद समझ कर अपने पास रख लिया। कुछ समय बाद उनके घर में धीरे-धीरे परेशानी आना शुरू हो गई। उन्होंने किसी तांत्रिक को दिखाया वह काफी पंहुचा हुआ रहा होगा। उसने तुरंत बताया कि आपको अमुक स्थान पर ₹1 का सिक्का मिला था वह चौक गए कि इसको कैसे पता कि मुझे अमुक स्थान पर सिक्का मिला था। उन्होंने कहा कि वह सिक्का जो आपने उठाया था जिसे आप पितरों का आशीर्वाद समझ कर समझ रहे थे वह किसी की मुसीबत उतारा हुआ था। बाद उन्होंने सिक्के को बहा दिया।
इस तरह से सिक्के मिल जाये तो बेहतर यही रहेगा कि आप सिक्का भिखारी को दान कर दो क्योंकि वह हाथ बदलने से उसका प्रयोजन बदल जाएगा ना तो भिखारी को नुकसान होगा और ना ही आपको।

जिन्हें सिक्का मिलने के बाद नुकसान उठाना पड़ा परंतु नोट मिलने के बाद ऐसा देखने में कहीं नहीं आया। हमारे एक बुजुर्ग मित्र हैं वह अपने जीवन के विषय में एक घटना बता रहे थे 70 के दशक में बहुत कम लोगों के पास स्कूटर हुआ करते थे वह उन दिनों काफी परेशान थे उनके ऊपर काफी कर्जा हो गया था। उनके पास लामरेटा स्कूटर हुआ करता था। वह एक दिन स्कूटर से कही जा रहे थे। उन्होंने एक जगह अपना स्कूटर मंदा किया अचानक उन्होंने देखा कि 10000 का नोट पड़ा हुआ है। उन दिनों 10000 का नोट चला करता था उसके बाद उन्होंने वह नोट उठाया और घर ले गए। उन्होंने अपना सारा कर्जा उतारा और बचे हुए पैसों से दिल्ली लाजपत नगर में दुकान खोली। बाद में उन्होंने काफी तरक्की भी की।

मुझे एक और घटना याद आती है हमारे एक मित्र डॉक्टर साहब है। उन्होंने बताया कि जब मैं डॉक्टर की पढ़ाई कर रहे थे तो उन दिनों काफी बुरा दौर चल रहा था। उनके पिता की अचानक मृत्यु हो गई। गांव में कुछ जमीने चाचा ने हथिया ली थी। जिसके कारण उनकी मां और भाई को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा था। डॉक्टर साहब एक हॉस्टल में रहा करते थे वे काफी परेशान हो गए क्योंकि हॉस्टल की फीस नहीं दी जा रही थी। और पढ़ाई का प्रेशर डॉक्टरी में पहले भी बहुत था। वह पूरी तरह से निराश हो गए और एक बार उन्होंने आत्महत्या करने का निर्णय लिया। जाते समय उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण से कहा कि मेरे परिवार को वह हर्जाना दिला देना। उन्होंने सुना था कि रेलवे लाइन अगर किसी व्यक्ति की मृत्यु रेलवे से कटकर होती है। तो इस पर रेलवे कुछ मुआवजा देती है। वह रेलवे लाइन की ओर चल दिए। रात 8:30 बजे का समय था अंधेरा हो गया था। अचानक से तेज हवाएं चलने लगी और आसमान में बिजली कड़की। उन्हें कुछ बण्डल में लिपटे पैसे दिखाई दिए। उन्होंने सोचा किसी का बीड़ी का बण्डल गिर गया होगा और यह पैसे जैसा लग रहा है। यह उनका भरम है क्योंकि वह मानसिक रूप से बहुत परेशान थे और उन्हें पैसे की जरूरत थी अचानक दोबारा बिजली कड़की और उन्होंने देखा कि वह तो सचमुच पैसे ही थे उस बण्डल में ₹27000 थे वह खुश हुए। और वापस आकर भगवान की फोटो के सामने बैठ बहुत देर तक रोए।

दोस्तों ऐसा हमारे साथ इसलिए अगर आपको सिक्के मिले तो उसे या तो पानी में बहा दें या फिर किसी गरीब को दान कर दे और अगर नोट मिले तो उन्हें अपने ईश्वर का आशीर्वाद समझ कर अपने पास रख लेना चाहिए धन्यवाद।

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